दिन मे सोने के नुकसान: जैसा की आप सभी को पता है की नींद हमारे अच्छे जीवन तथा स्वास्थ्य के लिए बहुत ही आवश्यक है, लेकिन किस समय सोना चाहिए उसका भी एक सही समय होता है। गलत समय पर सोने से हमारे स्वास्थ्य जुड़ी संसायाएँ तो होती हैं, साथ ही हमारे हिंदू धर्म के नजरिए से भी इसे बहुत ही गलत माना जाता है। जो लोग हमारे पौराणिक शास्त्रों में वर्जित किए गए समय पर निद्रा ग्रहण करते हैं, उन्हें हमारे देवी-देवताओं की कृपा कभी प्राप्त नहीं होती है। शास्त्रों के मुताबिक दिन में कुछ ऐसे समय बताए गए हैं, जब हमें भूलकर भी नही सोना नहीं चाहिए। इसी के बारे मे आज हम इस पोस्ट के माध्यम से आपको बतायेगे, बने रहिये हमारे साथ।
सूर्योदय के बाद सोने से नुकसान
हमारे शास्त्रो के अनुसार महालक्ष्मी उन लोगों से नाराज़ हो जाती हैं जो सूर्योदय होने के बाद भी बहुत देर तक निद्रा मे रहते हैं। शास्त्रों के मुताबिक ऐसे मनुष्य के पास चाहे जितना भी धन हो, लेकिन उन्हे कभी शांति नहीं रहती हैं। हमेशा मानसिक तनाव से जुड़ी पारेशानियों का सामना करते रहते हैं और लंबी उम्र तक जीवन भी नहीं रह पाते हैं। लक्ष्मी जी की कृपा के बिना धन में कभी वृद्धि नहीं आती है। हमें हमेशा सूर्योदय से पहले ही उठ जाना चाहिए। सुबह का यह समय हमारे जीवन के लिए एक वरदान से कम नही है। सुबह के इस समय को ब्रह्म मुहूर्त का विशेष महत्व बताया गया है। इस समय की ताजी वायु कई रोगों से रोकथाम करती है। यही कारण से सुबह के समय घुमना और योग करने की परंपरा प्राचीन काल से चली आ रही है।
दोपहर में सोने से नुकसान
शास्त्रों के मुताबिक इस समय सोने को भी गलत माना गया है। साथ ही, यह समय जीवन तथा स्वास्थ्य को भी काफी नुकसान दायक है। जो लोग हमेशा दिन में सोते हैं, वे अक्सर मोटापे के शिकार में जल्दी ही आ जाते हैं। दोपहर में सोने से शरीर का पाचन तंत्र मे नुकसान हो सकता है, अगर खाना ठीक से पचता नहीं तो इस वजह से पेट से जुड़ी बहुत सी बीमारियां होने की आशंकाए बहुत ही बढ़ जाती हैं। पेट से जुड़े रोग जैसे कब्ज, गैस, खाने का अपचना आदि। दोपहर का समय काम करने के लिए श्रेष्ठतम है, अतः दोपहर में हर मनुष्य को काम करना चाहिए।
![दिन मे सोने के नुकसान](https://4uhindime.com/wp-content/uploads/2024/03/IMG_20240319_171843.jpg)
सूर्यास्त के समय सोने से कौन से नुकसान होते हैं
निद्रा ग्रहण करने का तीसरा और अहम गलत समय है सूर्यास्त का समय। सूर्यास्त का समय देवी-देवताओं के पूजन-पाठ का विशेष समय होता है। इस समय में सोने वाले मनुष्य को कभी देवी-देवता की कृपा दृष्टि प्राप्त नहीं होती है। शास्त्रों के मुताबिक जो लोग बिना किसी कारण के ही शाम के समय निद्रा ग्रहण करते हैं, वे कई प्रयास करने के बाद भी आसानी से अपने जीवन मे सफलता प्राप्त नहीं कर पाते हैं। ऐसी प्राचीन भारतीय मान्यता है कि सूर्य अस्त होने के समय सभी देवी- देवता पृथ्वी का भ्रमण करते हैं। इस समय जो लोग काम न करते हुए आलस्य के कारण निद्रा ग्रहण करते हैं, वे लोग दुर्भाग्य के आक्रोश मे आ जाते हैं।
कुछ लोगों को गलत समय पर सोने से कोई दोष नही लगता
कुछ ऐसे भी लोग होते वे कभी भी निद्रा ग्रहण कर सकते है उनको कभी गलत समय पर सोने पर कोई दोष नही लगता। यदि कोई मनुष्य रोगी है या वृद्ध है या कोई गर्भवती स्त्री है तो ये मनुष्य अपनी सुविधा के मुताबिक दिन में कभी भी किसी भी समय निद्रा ग्रहण कर सकते हैं। इन मनुष्य को किसी भी समय पर सोने से किसी भी प्रकार का दोष नहीं लगता है, लेकिन कोई मनुष्य अकारण गलत समय में निद्रा ग्रहण करता है तो यह अशुभ माना जाता है।
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